केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक से दिल्ली में उनके आवास पर उनसे जिम्मेदार अभिभावक अधिनियम को लेकर टैक्सैब प्रतिनिधि मंडल ने मुलाक़ात की। इस प्रतिनिधिमंडल की अगुवाई टैक्सैब के प्रमुख मनु गौड़ कर रहे थे।
मनु गौड़ बढ़ती जनसंख्या को रोकने को लेकर कई बार देश के कई राज्यों के मुख्यमंत्रियों से मिल भी चुके हैं और उन्होंने उनके सामने इस गंभीर समस्या पर विचार करने को लेकर भी काम करने का आश्वासन मांगा है। मनु गौड़ लगातार देश में बढ़ती जनसंख्या के नियंत्रण को लेकर सरकार के प्रयासों को और तेज करने और इसको लेकर कानून बनाने को लेकर भी कई नेताओं से मिलकर बात कर चुके हैं।
डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक से मनु गौड़ की भेंट वार्ता के दौरान डॉ. निशंक ने अधिक जनसंख्या को चिंताजनक बताते हुए इस ओर उचित कदम उठाने हेतु प्रयास करने का आश्वासन दिया। साथ ही टैक्सैब के द्वारा आयोजित की जा रही प्रतियोगिता के लिए भी अपने मंत्रालय द्वारा यथोचित सहयोग की पेशकश की। उन्होंने कहा कि 16 वीं लोकसभा के सदस्य रहते हुए खुद उन्होंने जनसंख्या नियंत्रण के संबंध में संसद में निजी विधेयक पेश किया था। अधिकता हर चीज की बुरी होती है चाहे वह मानव संसाधन की ही क्यों न हो।
टैक्सैब के अध्यक्ष मनु गौड़ की मानें तो डॉ. निशंक से लंबी वार्ता में कहा गया कि विश्व के पहले दो विश्वविद्यालय भारत में प्रारंभ हुए थे तक्षशिला और नालंदा लेकिन आज दुनिया के उच्च 250 विश्वविद्यालयों में हमारे देश का कोई विश्वविद्यालय नहीं है। यहां तक कि जिस देश में अर्थशास्त्र लिखा गया उसे पढ़ने के लिए छात्र लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स और हार्वर्ड जाते हैं। देश में अधिक जनसंख्या के दबाव के कारण शिक्षा की गुणवत्ता में भी कमी आई है।
इसीलिए अच्छी शिक्षा के लिए आवश्यक है कि माता पिता अपने बच्चों को अच्छा जीवन स्तर देने के लिए दो से अधिक बच्चे पैदा न करने की जिम्मदारी लें। भारतीय शिक्षा व्यवस्था में अधिक जनसंख्या के दुष्प्रभावों के बारे में पढ़ाना आवश्यक है।
मनु गौड़ ने निशंक की इस बात का समर्थन करते हुए बताया कि इसी जागरूकता के लिए ही टैक्सैब के द्वारा देश के सभी शिक्षण संस्थानों में ‘मैं भारत बोल रहा हूं’ शीर्षक के अन्तर्गत अधिक जनसंख्या के दुष्प्रभाव पर एक प्रतियोगिता कराई जा रही है जिसमें प्रतिभागी फोटो, वीडियो, ब्लॉग, पोस्टर और कविता के माध्यम से उन दुष्प्रभावों का चित्रण कर सकते हैं। मनु गौड़ के द्वारा डॉ निशंक को जिम्मेदार अभिभावक अधिनियम के साथ पुस्तक ओवर पॉपुलेशन- बर्डेन ऑन टैक्सपेयर्स भी सौंपी गई।